जयपुर। भारत में सड़क पर ही 1.7 लाख लोगों की मौत हो गई जबकि, 4.23 लाख लोग घायल हो गए। इसको लेकर मोदी सरकार ने बड़ा कदम उठाया है। दरअसल, भारत में सड़क एक्सीडेंट में ज्यादा मौतें तुरंत इलाज नहीं मिलने के कारण होती है। लेकिन अब सरकार इसी गंभीर विषय पर ध्यान देते हुए जल्द ही सड़क दुर्घटना के मामलों में फ्री इलाज की व्यवस्था कर रही है। ऐसा होने पर दुर्घटना में घायलों को आसपास जल्द से जल्द नि:शुल्क इलाज मिलने से उनकी जान बच सकेगी। इसके लिए मोटर व्हीकल एक्ट में बदलाव किया गया है जो जल्द ही लागू किया जा रहा है। आंकड़ों के अनुसार 2022 में 4.46 लाख सड़क हादसे हुए जिनमें 4.23 लाख लोग घायल हुए और 1.71 लाख लोगों की मौत हुई।
भारत सरकार का सड़क परिवहन एवं हाईवे मंत्रालय जल्द ही इस मामले में बड़ा ऐलान करने जा रहा है। माना जा रहा है कि आने वाले 4 महीनों में ये सुविधा पूरे देश में लागू की जाएगी। मंत्रालय के सचिव अनुराग जैन के अनुसार रोड एक्सीडेंट से सबसे अधिक मौतें भारत में होती हैं। ऐसे में अब नए मोटर व्हीकल एक्ट में शुल्क और कैशलेस मेडिकल ट्रीटमेंट शामिल किया है। फिर यह नियम देश के कुछ राज्यों में लागू है। लेकिन अब इसको पूरे देश में लागू किया जा रहा है। इसलिए अब परिवहन मत्रालय कैशलेस इलाज का सिस्टम पूरे देश लागू करने जा रहा है।
यह भी पढ़ें: चुनाव में BJP कैंडीडेट का गजब कमाल, एक साथ दो सीएम कैंडीडेट्स को धूल चटाई
मोटर व्हीकल एक्ट और सुप्रीम कोर्ट के आदेशानुसार सड़क दुर्घटना में घायल लोगों का इलाज तुरंत ही किसी भी नजदीकी हॉस्पिटल में होगा। ऐसा इसलिए क्योंकि दुर्घटना के पहले कुछ घंटों में इलाज मिल जाए तो घायलों की जान बचाई जा सकती है। सड़क दुर्घटना के बाद के शुरुआती कुछ घंटों को गोल्डन आवर कहा जाता है। उस समय में यदि घायल को डॉक्टर के पास पहुंचा दिया जाए तो उसे तुरंत इलाज मिलेगा और उसकी जान बच सकती है।
सरकार की तरफ से रोड सेफ्टी के प्रति जागरूकता बढ़ाने के लिए इसें स्कूल और कॉलेजों में पढ़ाने के लिए लागू किया जा रहा है। वहीं, भारत एनकैप को भी लागू किया जाएगा। इसमें सीट बेल्ट रिमाइंडर और गाड़ियों में तकनीकी बदलाव किए जाएंगे।
यह भी पढ़ें: अब देश के 17 राज्यों की सत्ता भाजपा के हाथों में, कांग्रेस के पास सिर्फ 3 राज्य बचे
NCRB यानि नेशनल क्राइम रिकॉर्ड ब्यूरो के अनुसार पिछले साल भारत में 4,46,768 सड़क हादसे हुए। इन हादशों में 4,23,158 लोग घायल हुए जबकि 1,71,100 लोगों की मौत हुई। रोड़ एक्सीडेंट केसेज में 45.5 प्रतिशत दुपहिया वाहनों के हुए हैं। वहीं, कार से होने वाले सड़क हादसे 14.1 फीसदी रहे। इनमं भी तेज गति की वजह से सबसे ज्यादा हादसे हुए और 1 लाख से ज्यादा लोगों की मौत हुई। इसमें सबसे खास बात ये है कि गांवों में सबसे ज्यादा सड़क हादसे हुए हैं।
रावत पब्लिक स्कूल प्रताप नगर के विद्यार्थियों ने नंदूबा इंग्लिश एकेडमी स्कूल,सूरत में आयोजित सी…
blood donation camp : जयपुर। झोटवाड़ा स्थित 'डॉ. पांडे ईएनटी सेंटर' ने 'स्वरूप फाउंडेशन डीके…
IIT दिल्ली के पूर्व छात्रों अभिषेक शर्मा और अयुष बंसल द्वारा स्थापित, LiLLBUD 0–18 महीने…
Healthy Liver Tips : जयपुर। लिवर शरीर का सबसे महत्वपूर्ण अंग है, जो हमारे शरीर…
National Herald Case : केंद्र सरकार द्वारा राज्यसभा सांसद सोनिया गांधी व नेता प्रतिपक्ष राहुल…
Hanuman Jayanti : राहोली पंचायत के महात्मा गांधी राजकीय विद्यालय में हनुमान जयंती के अवसर…